शब्द का अर्थ
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पिराक :
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पुं० [सं० पिष्टक, प्रा० पिट्ठक; पिड़क] [स्त्री० अल्पा० पिराकड़ी] गुझिया या गोझा नामक पकवान, जो मैदे की पतली लोई के अंदर सूजी खोआ, मेवे आदि भरकर और उसे अर्द्धचंद्राकार मोड़कर घी में तलकर बनाया जाता है। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
पिराक :
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पुं० [सं० पिष्टक, प्रा० पिट्ठक; पिड़क] [स्त्री० अल्पा० पिराकड़ी] गुझिया या गोझा नामक पकवान, जो मैदे की पतली लोई के अंदर सूजी खोआ, मेवे आदि भरकर और उसे अर्द्धचंद्राकार मोड़कर घी में तलकर बनाया जाता है। |
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समानार्थी शब्द-
उपलब्ध नहीं |
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